भौंकते रहे कुत्ते अडानी पर और उसी के आगे दुम हिलाने लगे। दंगाइयों से मिले हुए, कर्नाटक को दिवालिया कर बिहार बर्बाद करने की तैयारी में लेकिन तेलांगना में अडानी चाहिए।
क्या कांग्रेस ने तेलंगाना बेच दिया अडानी को :
राहुल “कालनेमि” हो या कांग्रेस और TMC की महुआ मोइत्रा जैसे नेता हों, कुत्ते की तरह भौंकते फिरते हैं गौतम अडानी पर और कहते नहीं थकते कि मोदी ने देश बेच दिया अडानी अंबानी को लेकिन आज उसी अडानी के आगे कांग्रेस दुम हिला रही है। फिर भी चिदंबरम और सुप्रिया श्रीनेत जवाब देने को तैयार नहीं हैं कि अडानी से तेलंगाना में निवेश के लिए करार क्यों किया। अब क्या कांग्रेस ने तेलंगाना बेच दिया अडानी को।
अडानी का राजस्थान और बिहार में भी निवेश :
अडानी पहले कांग्रेस सरकार में राजस्थान में निवेश कर चुका है और कुछ दिन पहले बिहार में 10 हज़ार करोड़ निवेश करने का भी फैसला किया था जहां कुछ दिन पहले तक कांग्रेस सरकार में शामिल थी। कर्नाटक को तो कांग्रेस की सिद्धारमैया सरकार ने 6 महीने में दिवालिया कर दिया है और साफ़ कह दिया है कि मुफ्त की रेवड़ियां बांट कर खज़ाना खाली है, अब केंद्र से हमें पैसा चाहिए। राज्य सरकार ने कहा है कि मुफ्त रेवड़ियों पर खर्च 58 हज़ार करोड़ की रकम को हम नहीं झेल सकते।
36500 करोड़ के निवेश :
कांग्रेस की तेलंगाना सरकार के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी ने भारत में नहीं स्विट्ज़रलैंड के दावोस में बैठ कर गौतम अडानी के साथ 12000 करोड़ के निवेश के लिए 4 MOU साइन किये हैं। इसमें अडानी एंटरप्राइज 5000 करोड़ का 100 MW डाटा सेन्टर बनाएगा; अडानी ग्रीन 5000 करोड़ के 2 pup स्टोरज प्रोजेक्ट्स लगाएगा; अम्बुजा सीमेंट 1400 करोड़ के प्लांट लगाएगा और अडानी डिफेन्स 1000 करोड़ के ड्रोन सिस्टम तैयार करने का प्रोजेक्ट शुरू करेगा।
इसके अलावा JSW एनर्जी के साथ भी बिजली उत्पादन के लिए करार हुए हैं। कुल 36500 करोड़ का निवेश होगा। चिदंबरम से पत्रकारों ने सवाल किया कि आप लोग तो अडानी के खिलाफ हो तो फिर उसके साथ क्यों खड़े हो गए तो उसने माइक सुप्रिया श्रीनेत की तरफ सरका दिया और सुप्रिया कहती है कि इस विषय पर बात मत कीजिए, आज का मामला तो केवल घोषणा पत्र का है।
बिहार को भी दिवालिया बनाने की रूपरेखा :
उधर बिहार में लालू यादव का लाल तेजस्वी जो श्री राम मंदिर की जगह अस्पताल बनाने की वकालत कर रहा है, उसने आज घोषणा की है कि सभी जातियों के आर्थिक रूप से गरीब पाए गए 94 लाख 33 हज़ार 212 परिवारों को स्वरोजगार के लिए 2-2 लाख रुपए दिए जाएंगे और इसके लिए 1250 करोड़ की स्वीकृति दे दी जबकि इस योजना का खर्च 1 लाख 90 हज़ार करोड़ रुपया चाहिए। बिहार का सालाना बजट ही 2 लाख 65 हज़ार करोड़ है। यानी बिहार को भी दिवालिया बनाने की रूपरेखा तैयार कर दी गई है। 1250 करोड़ की राशि ऐसे ही स्वीकृत की गई जैसे 50000 हज़ार करोड़ के OROP के लिए कांग्रेस सरकार ने 500 करोड़ स्वीकृत किये थे।
कांग्रेस की नीति फूट डालो राज करो :
एक ताजा खबर और है कि कांग्रेस के युवराज राहुल “कालनेमि” मणिपुर में कुकी आतंकी ग्रुप के निकट सम्बन्धी डॉ लाम्तीनथांग हाओकिप के साथ अपनी यात्रा में “न्याय” कर रहा है। अब समझ आ जाना चाहिए सुप्रीम कोर्ट के CJI चंद्रचूड़ को भी कि मणिपुर हिंसा के पीछे कौन था जो बड़े जोर शोर से कह रहे थे कि सरकार कुछ कार्रवाई नहीं करेगी तो हम करेंगे। हर तरह का विलाप करेंगे, मोदी अडानी अंबानी को कोसते रहेंगे, राम मंदिर पर भड़ांस निकालते रहेंगे लेकिन अंदर ही अंदर हर कुकर्म भी करेंगे। यह है कांग्रेस नीति।