पूरे विश्व में कोरोना का कहर बरस रहा है, तो वहीं भारत में भी इसके संक्रमण की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। लेकिन इन सबके बीच भारतीय टेलीविजन को जबरदस्त टीआरपी देने का रिकॉर्ड बना चुका धारावाहिक सीरियल रामायण के अनेकों किस्से कहानियां हैं, जिसको लोग जानने में काफी दिलचस्पी लेते हैं। पर्दे की आगे की कहानी तो आपने टेलीविजन पर देखी है, लेकिन पर्दे के पीछे के कई किस्से ऐसे होते हैं जो हमें नहीं पता होते, हम यह जानने में काफी दिलचस्पी रखते हैं कि उस दौर में चीजें किस तरह हुआ करती थी, कैसे शूटिंग होती थी, कलाकारों को उनकी मेहनताना के कितने पैसे मिलते थे।
जब गांव कस्बे जाते थे तो लोग हमारे पैर पकड़ लेते थे:-
रामायण के स्टार कास्ट राम लक्ष्मण और सीता का किरदार निभाने वाले अरुण गोविल सुनील लहरी और दीपिका चिखलिया खुद कई बार इस बात को बता चुके हैं कि जब वह गांव और कस्बों में जाया करते थे तो लोग उनको भगवान समझ के पैर पकड़ लेते थे। जाहिर सी बात है ऐसी पापुलैरिटी की तुलना आज की पॉपुलैरिटी से नहीं की जा सकती, यह अन्य हर तरह की पापुलैरिटी से अलग थी, क्योंकि लोगों का इन स्टार कास्ट के साथ आस्था की भावना थी, वह इनमें अपने भगवान को खोजते थे। लेकिन क्या आपको पता है उस दौर में आज की तरह टेक्नोलॉजी नहीं होती थी कि जिससे आसानी से रिकॉर्डिंग, साउंड इफैक्ट्स, वीडियो क्वालिटी बढ़िया हो जाए। उस दौर में कलाकारों को जी तोड़ मेहनत करनी पड़ती थी और उस जीतोड़ मेहनत के लिए उन कलाकारों को कितने पैसे मिलते थे इस पर एक न्यूज़ चैनल के साथ बातचीत में सुनील लहरी ने अपनी सैलरी को लेकर कई राज खोलें।
उस दौड़ में सिर्फ पीनट्स मिलते थे:-
रामायण में भगवान श्री राम के छोटे भाई लक्ष्मण का किरदार निभाने वाले सुनील लहरी ने बताया कि, उस वक्त बस पीनट्स मिलते थे, तब इतना खर्च भी नहीं था आज के जमाने की तरह। आपको बता दें कि सुनील लहरी ने सीधे तौर पर नंबर तो नहीं बताएं कि उन्हें कितने रुपए मिला करते थे। लेकिन उन्होंने इतना जरूर बताया कि उस वक्त मेहनताना की फीस बहुत कम हुआ करती थी। सुनील ने अपनी बात में यह भी कहा कि उन दिनों खर्चे बहुत ज्यादा नहीं हुआ करते थे। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि उस दौर की रामायण 1987 में शूट की गई थी। सुनील ने अपनी बात को आगे रखते हुए कहा कि, हालांकि आज कोई एक्टर एक सो करके घर बना सकता है, लेकिन तब हम पूरी रामायण करके भी घर बनाने का नहीं सोच सकते थे, आज की तरह पहले लाइफ को सिक्योर रखने जैसी सोच भी नहीं थी।आज समय नई सोच से आगे बढ़ रहा है, जिस तेजी से मनोरंजन जगत लगातार आगे बढ़ रहा है उसकी सुनील लहरी ने जमकर तारीफ भी की और सब की सब का शुक्रिया अदा भी किया इतना स्नेह और प्यार देने के लिए।
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