भारतीय थल सेना दिवस हर वर्ष 15 जनवरी को पूरे देश में गर्व और सम्मान के साथ मनाया जाता है। इस ऐतिहासिक दिन 1949 में फील्ड मार्शल केएम करियप्पा ने ब्रिटिश जनरल सर फ्रांसिस बुचर से भारतीय सेना के पहले कमांडर-इन-चीफ का पदभार ग्रहण किया था। यह दिन भारतीय सेना की वीरता, समर्पण और बलिदान का प्रतीक है। देश की सुरक्षा और अखंडता की रक्षा के लिए भारतीय सेना दिन-रात सीमाओं पर तैनात रहती है। यह दिवस सैनिकों के अदम्य साहस, अनुशासन और देशभक्ति को सम्मानित करने का अवसर प्रदान करता है।
इस वर्ष भारतीय सेना 77वां थल सेना दिवस मना रही है, जो हर भारतीय नागरिक के लिए गर्व का विषय है। इस दिन विभिन्न कार्यक्रमों और परेड का आयोजन कर सेना की ताकत और पराक्रम का प्रदर्शन किया जाता है।